Saturday, August 6, 2011

Gyaan ki Baat

I asked him that can he keep a secret? He said, "Off course. Do not worry, my lips are sealed like BP Oil wells."

ज्ञान १: जहाँ तक मेरी समझ है, दी गयी गाली तभी सार्थक है जब जिसे दिया गया हो उसे लग जाये.  अगर गाली लगी नहीं तो बेकार गयी. इसलिए गाली हमेशा receiver कि मातृभाषा में देनी चाहिए.  मेरा दोस्त राहुल एक बार धोबी पर गरम हो गया. बात ही ऐसी थी, उसने राहुल कि नयी शर्ट गुमा दी थी. राहुल भाई थोड़े अंग्रेजी के जानकार आदमी हैं, और बात भी ज्यादातर अंग्रेजी में ही करना पसंद करते हैं. गुस्से में राहुल भाई अपनी मातृभाषा, अंग्रेजी में शुरू हो गए. एक से बढकर एक चुनिन्दा गलियाँ दी. कुछ तो मैंने अपनी diary में note कर लिया भविष्य में प्रयोग के लिए. जब राहुल भाई शांत हुए तो धोबी सहम कर बोला "भैया, वो मैं कह रहा था कि आपका शर्ट गुम हो गया है, शायद आप समझे नहीं."

ज्ञान २: एक बार मैं अपने दोस्त सतीश के घर गया. उसकी दीदी का बेटा कुणाल छुट्टियों में आया हुआ था. मैंने उसे छेड़ने के लिए पीछे से उसके बाल खींचे. पलट कर उसने मुझे गाली दे दी. मैंने उसे समझाते हुए बोला "बेटा गाली नहीं देते. अब देखो, तुम ने गाली दी और मैंने नहीं ली, गाली तो तुम्ही को वापस हो गयी ना. इसलिए गाली नहीं देते."
उसने कहा, " गाली वापस थोड़े ही ना होता है, एक बार जिसको दे दी उसी के पास रहती है. गाली आप ही के पास है."
इसलिए याद रखिये, दी गयी गाली वापस नहीं होती. अगर कोई आपको गाली दे रहा है और आप यह सोचकर ध्यान नहीं दे रहे हैं कि आप उसे ले नहीं रहे हैं, तो यह आपकी भूल है. गली आपको लग कर ही रहेगी.

यह चुटकुला real अनुभव पर आधारित है.
एक बार एक लड़के वाला मेरे पडोसी के घर उनकी बेटी का रिश्ता तय करने आया. बात चलते-चलते दहेज़ पर पहुँची. लड़के वाले बहुत ज्यादा दहेज़ मांग रहे थे. इसी बीच लड़के के पिताजी को जोर की लघुशंका आयी. उन्होंने पडोसी से एक लोटा पानी मँगवाने को कहा. मेरे पडोसी ने जोर से अपने बेटे को आवाज लगते हुए कहा, "जरा, एक बड़े से लोटे में पानी तो लेते आना, आज समधी जी आग मूत रहे हैं. बुझाने के लिए चाहिए होगा." पड़ोसी का दहेज़ पर यह व्यंग अभी भी मुझे हँसाता है.

"मेरे पिताजी इतने लम्बे हैं" वाला चुटकुला तो आपने सुना ही होगा.
तीन बच्चे आपस में discussion कर रहे थे कि किसके पिताजी सबसे ज्यादा काबिल हैं.
पहला बच्चा: मेरे पिताजी तो इतने लम्बे हैं की वो ताड़ के पेड़ से फल तोड़ लेते हैं.
दूसरा बच्चा: बस. मेरे पिताजी तो इतने लम्बे हैं की वो उड़ते हुए जहाज को आराम से छू लेते हैं.
तीसरा बच्चा: मेरे पिताजी भी लम्बे हैं, पर वो ऐसा चुरकुट वाला काम नहीं करते.